1

तन्हाई में खोया, अकेला हूँ मैं | Judai Aur Tanhai Ki Dastaan | Sad Ghazal | दर्द भरी ग़ज़ल

News Discuss 
जिंदगी में इंसान उस वक्त बहुत टूट जाता है, मुझको मेरी तन्हाई से अब शिकायत नहीं है, غزل: بلکتے بچوں کو جا کے دیکھوں بِلکتے بچوں کو جا کے دیکھوں، بے گور لاشے اُٹھا کے دیکھوں वही कारवाँ वही रास्ते वही ज़िंदगी वही मरहले हजारों लोग हैं मगर कोई उस https://youtu.be/Lug0ffByUck

Comments

    No HTML

    HTML is disabled


Who Upvoted this Story